म्यांमार में कत्लेआम, 43 दिन में 138 प्रदर्शनकारियों की मौत

संयुक्त राष्ट्र। म्यांमार में सेना द्वारा सत्ता हथियाने के बाद से ही यहां हालात लगातार बेकाबू होते जा रहे हैं। सड़कों पर प्रदर्शन आक्रामक हो रहा है तो प्रदर्शनकारियों पर रोकने के लिए उन पर गोलियां दागी जा रही है। आंग सान सू की समेत कई नेताओं को जेल में डाल दिया गया है। संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद की रिपोर्ट के मुताबिक म्यांमार में एक फरवरी को हुए सैन्य तख्तापलट के बाद से जारी हिंसा में अब तक कम से कम 138 प्रदर्शनकारी मारे गए हैं।

संयुक्त राष्ट्र के प्रवक्ता स्टीफन डुजारिक ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार कार्यालय के अनुसार म्यांमार में एक फरवरी से जारी हिंसा में कम से कम 138 प्रदर्शनकारी मारे गए हैं जिनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। केवल रविवार को हुई हिंसा में ही 38 लोगों की मौत हो गई। यह हिंसा यंगून के हलायिंग थायर क्षेत्र में हुई।

हालत बेहतर बनाने का प्रयास : विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला ने कहा कि म्यांमार में हालात ‘जटिल’ हैं तथा भारत संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सकारात्मक तरीके से काम कर रहा है ताकि ऐसे संतुलित निष्कर्ष निकाले जा सकें जो परिस्थितियों को सुलझाने में मददगार हों। उन्होंने कहा कि म्यांमार में सभी संबंधित व्यक्तियों से हमारे अच्छे संपर्क हैं तथा हम हालात को बेहतर बनाने के लिए सभी के साथ बात कर रहे हैं।भारत में बड़ी घुसपैठ : म्यांमार में बिगड़े हालात की वजह से बड़ी संख्या में लोग सीमा पार कर भारत आ रहे हैं। 1 फरवरी से अब तक करीब 400 से अधिक लोग भारत में आ चुके हैं। इनमें कई पुलिसवाले भी शामिल है।

संयुक्त राष्ट्र की म्यांमार के लोगों से अपील : संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने म्यांमार में शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन कर रहे लोगों के साथ हुई हिंसा की कड़ी निंदा करते हुए मानवाधिकारों का उल्लंघन करार दिया है। गुटेरेस ने म्यांमार के पड़ोसी देशों समेत अंतरराष्ट्रीय समुदाय से म्यांमार के लोगों और उनके लोकतांत्रिक अधिकारों के प्रति एकजुटता दिखाने की अपील की है।

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